हर्निया एक ऐसी बीमारी है जिसका इलाज सिर्फ ऑपरेशन से ही हो सकता है। मोटापा बढ़ने की वजह से मांस बढ़ता है लेकिन बढ़ते समय जब हड्डियों से मांस निकलने लगता है तो उस बीमारी को हर्निया कहते हैं। हर्निया आमतौर पर पेट में निचले हिस्से में होता है। हर्निया पुरुषों को महिलाओं के मुकाबले में कम होता है। हर्निया में कुछ सावधानियां रखने से ये बीमारी ज्यादा नहीं बढ़ती। लेकिन हर्निया को हल्के में लेने से इसके दुष्परिणाम भी होते हैं।
हर्निया के कारण-
- हर्निया का एक कारण जन्मजात भी होता है। अगर आपके माता-पिता हर्निया की दिक्कत से जूझ रहें हैं तो आपको भी हर्निया होने के चांस होंगे।
- हर्निया का मुख्य कारण मोटापा भी है। शरीर में एक दम से मांस बढ़ने लगता है तो उसकी वजह से अक्सर हर्निया की दिक्कतों का सामना करना पड़ता हैं।
- मांसपेशियों का जरूरत से ज्यादा समय के लिए खिंची और तनी अवस्था में रहने से, जैसे भारी वजन उठाना, पेशाब और मल करते हुए ज़ोर लगाने से भी हर्निया की दिक्कत हो सकती है।
- इसी तरह जिन व्यक्तियों को अपने रोजगार के सिलसिले में भारी वजन उठाना पड़ता है या घंटों खड़ा रहना होता है, उन्हें भी इस बीमारी के होने की संभावना बढ़ जाती है |
- अगर किसी हिस्से में सर्जरी हुई है और वहां प्रेशर पड़ता है तो हर्निया होने की आशंका होती है।
- सिजेरियन ऑपरेशन में पेट के बीच में टांके लगाए जाएं तो भी हर्निया के चांस बढ़ जाते हैं।
हर्निया से बचने के लिए ये करें ये उपाय-
- हर्निया से बचने के लिए सबसे पहले अपने वजन नियंत्रण में रखें।
- पोषण युक्त खाने का सेवन करें और कब्ज से बचें रहें।
- पेशाब और खांसी करते वक़्त ज़ोर नहीं लगाना चाहिए।
- भारी वजन को ज्यादा समय के लिए बिलकुल भी नहीं उठाए।
- ख़ासी आने से तुरंत ही डॉक्टर को दिखाए।
- धूम्रपान के दौरान वाली खांसी से बचकर रहें।